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समास और संधि में क्या अंतर है । संधि और समास में अंतर बताइए। Difference between sandhi and samas।


नमस्कार दोस्तों,



                आज में आपको हिंदी व्याकरण के सबसे अच्छे Topic के बारे में बताने वाला हूँ जो आपको Hindi Grammar  में बहुत मदद करेगा । वो Topic है आपका संधि और समास  में अंतर । दोस्तों, में आपको संधि और समास में अंतर बताऊंगा जिसे आप काफी अच्छे से जानेंगे और बहुत आसान भाषा में समझ जाओगे । तो आपको में इनके बीच अंतर बताता हूं -

     

संधि का शाब्दिक अर्थ होता है मेल। संधि में उच्चारण के नियमों का विशेष महत्व होता है। इसमें दो वर्ण होते हैं इसमें कहीं पर एक तो कहीं पर दोनों वर्णों में परिवर्तन हो जाता है और कहीं पर तीसरा वर्ण भी आ जाता है। संधि किये हुए शब्दों को तोड़ने की क्रिया विच्छेद कहलाती है। संधि में जिन शब्दों का योग होता है उनका मूल अर्थ नहीं बदलता। जैसे – पुस्तक +आलय = पुस्तकालय।

    

       सन्धि और समास में अन्तर


संधि-समास में अंतर
संधि-समास में अंतर


सन्धि और समास का अन्तर इस प्रकार है-
(i) समास में दो पदों का योग होता है; किन्तु सन्धि में दो वर्णो का।
(ii) समास में पदों के प्रत्यय समाप्त कर दिये जाते है। सन्धि के लिए दो वर्णों के मेल और विकार की गुंजाइश रहती है, जबकि समास को इस मेल या विकार से कोई मतलब नहीं।
(iii) सन्धि के तोड़ने को ‘विच्छेद’ कहते है, जबकि समास का ‘विग्रह’ होता है।
जैसे- ‘पीताम्बर’ में दो पद है- ‘पीत’ और ‘अम्बर’। सन्धि विच्छेद होगा- पीत+अम्बर;
जबकि समासविग्रह होगा- पीत है जो अम्बर या पीत है जिसका अम्बर = पीताम्बर।
* यहाँ ध्यान देने की बात है कि हिंदी में सन्धि केवल तत्सम पदों में होती है, जबकि समास संस्कृत तत्सम, हिन्दी, उर्दू हर प्रकार के पदों में। यही कारण है कि हिंदी पदों के समास में सन्धि आवश्यक नहीं है।
(iv) संधि में वर्णो के योग से वर्ण परिवर्तन भी होता है जबकि समास में ऐसा नहीं होता।




तो दोस्तों आपको मेरी  post केसी लगी ,plz Comment करके बातये ।आपको और भी हिंदी व्याकरण से Related topic पढ़ना हो तो हमारे blogger के हिंदी व्याकरण के टॉपिक को जरूर Read करे ।
 
              
               धन्यवाद 👍


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